इतिहास क्या होता है,कौन लिखता है ये बहुत बड़ा प्रश्न है।
कल मै पूरू व सिकन्दर की लडा़ई के बारे में पढ़ रहा था जो कि
हालीवुड की फिल्म से कम रोमांचक नहीं था।
पूरु के पास हजारों बडे़-बडे़ हाथी थे,लाखों सैनिक थे लेकिन
फिर भी वे सिकन्दर के सिर्फ सैकडो़ सिपाहियों से हार जाता है।
यानि की सिकन्दर के एक सैनिक पुरू के हजारों सैनिकों को मार गिराते हैं।यह विचाराधीन है(हालीवुड की फिल्मों में ही ऐसा होता है)।
अच्छा आज जो हो रहा है वही कल का इतिहास होगा और उसे अर्जुन सिंघ जैसे लोग ही लिखेंगे तो आइये मै पचास साल बाद का इतिहास क्या लिखा जायेगा मै वो आपको बताता हूँ।
१-भारत इटली के हाथों संचालित है क्योंकि इटली वासी सोनिया गाधी भारत के प्रधानमंत्री को अपने इसारों पर नचाती थी।
२-अफजल गुरू भारत का इतना महान हसति था कि उसे फाँसी चढा़ने कि हैसियत किसी में नहीं थी।
३-भारतीय लोग स्ल्म डाग होते हैं क्योंकि आस्कर जैसा प्रतिष्ठित पुरसकार उसे ही मिलता है।
४-नेहरू ,इन्दिरा,राहुल ,सोनिया ,प्रियन्का इत्यादि के नाम पर लाखों स्कुल कालेज ,पार्क इत्यादि बताते है भारत गाँधी परिवार का गुलाम था।
इतिहास या झूठ का पूलिन्दा
शुक्रवार, 27 फ़रवरी 2009
मंगलवार, 17 फ़रवरी 2009
मुम्बई पर हमला करने वाले मुसलिम थे(
मैं यहाँ पर आपको logic के बारे में विस्तार से नहीं बताने जा रहा बल्कि मै इसके एक भाग के बारे में जो मै जानता हूँ बताने जा रहा हूँ।practical phylosophy के दो ब्रान्च होते हैं इथिक्स व लाजिक ।ये दोनो अपने आप में पढ़ाये जाने वाले कालेज के कोर्स हैं,मै बस थोडा सा बताने जा रहा हूँ।लोजिक के भी दो ब्रान्च होते हैं,epistemology and dialectics मै दोसरे प्रकार को समझाने जा रहा हूँ क्योंकि यह हमें सोचने के सही तरीके के बारे में बताता है।dialectics के तीन भाग होते हैं
1-simple apprehension
2-judgment
3-reasoning
1-simple apprehension-इसका मतलब होता है किसी बात के बारे में बस उपरी तौर पर जानना जैसे,
यह एक पेन है।
यह एक आम है इत्यादि?
2-judgment-इस तक पहुँचने के लिये दो simple apprehension की आवश्य्क्ता होती हैजैसे- यह एक पेन है(simple apprehension)
यह लाल है(simple apprehension) judgement (यह एक लाल पेन है)
मुम्बई पर हमला करने वाले मुसलिम थे(simple apprehension) संसद पर हमला करने वाले भी थे (simple apprehension)
मुसलिम आतंकवादी होते हैं judgement 3-reasoning-जिस तरह दो simple apprehension जरूरी हैं judgement तक पहुँचने के लिये उसी तरह दो judgement जरूरी हैं reasoning तक पहुँचने के लिये।यह एक अच्छी किताब है।यह मुझे पसंद है।अत: मुझे अच्छी किताबे पसंद हैं।
1-simple apprehension
2-judgment
3-reasoning
1-simple apprehension-इसका मतलब होता है किसी बात के बारे में बस उपरी तौर पर जानना जैसे,
यह एक पेन है।
यह एक आम है इत्यादि?
2-judgment-इस तक पहुँचने के लिये दो simple apprehension की आवश्य्क्ता होती हैजैसे- यह एक पेन है(simple apprehension)
यह लाल है(simple apprehension) judgement (यह एक लाल पेन है)
मुम्बई पर हमला करने वाले मुसलिम थे(simple apprehension) संसद पर हमला करने वाले भी थे (simple apprehension)
मुसलिम आतंकवादी होते हैं judgement 3-reasoning-जिस तरह दो simple apprehension जरूरी हैं judgement तक पहुँचने के लिये उसी तरह दो judgement जरूरी हैं reasoning तक पहुँचने के लिये।यह एक अच्छी किताब है।यह मुझे पसंद है।अत: मुझे अच्छी किताबे पसंद हैं।
रविवार, 15 फ़रवरी 2009
एक तरफ चोर हैं तो एक तरफ डाकू
अफजल गुरू को फासी नहीं देना?
मुसलिम तुष्टीकरण?
मुम्बई में बिहारियों पर हमला?
अंतुले प्रकरण?
भारतीय गरीबों की नुमाईस(राहुल गाँधी द्वारा)?
अमरनाथ भूमि प्रकरण?
नवीन चावला के मदद से?
इन सब के बाद भी सायद काग्रेंस फिर सत्ता में आ जाये इससे शर्म की बात और क्या हो सकती है कि आज भारतीय राजनीति विकल्प विहीन हो गई है?
एक तरफ चोर हैं तो एक तरफ डाकू?
अब अकेला मै क्या कर सकता हूँ।
कुछ लोग मुझमें कुछ ज्यादा ही इन्टरेस्ट ले रहे है,मेरा पता जनना चाहते हैं,मैने देश के लिये क्या किया जानना चाहते हैं।मै किस जाति का हूँ जानना चाहते हैं तो उनको मै बताना चाहता हूँ मै केन्द्रीय मन्त्री महावीर प्रसाद के लोक्सभा क्षेत्र बाँसगाँव का रहने वाला हूँ,मैने उनको सिर्फ पोस्टरों मे देखा है इस समय जो कत्ल के जुर्म में न्यायालय द्वारा दंडित हैं फिर भी मंत्री बने हुये हैं?
झारखंड मुक्ति मोर्चा के सिबू सोरेन को इन्होंन्ने (कांग्रेस) ने इस्तिफा देने पर मजबूर कर दिया काग्रेस वाले होते ही हैं मक्कार?मीडिया भी सिर्फ भाजपा वालों को कोसता है।क्यों उनको मुसलिम व ईशाई मशिनरियों द्वारा फंड जो मिलता है?
मुसलिम तुष्टीकरण?
मुम्बई में बिहारियों पर हमला?
अंतुले प्रकरण?
भारतीय गरीबों की नुमाईस(राहुल गाँधी द्वारा)?
अमरनाथ भूमि प्रकरण?
नवीन चावला के मदद से?
इन सब के बाद भी सायद काग्रेंस फिर सत्ता में आ जाये इससे शर्म की बात और क्या हो सकती है कि आज भारतीय राजनीति विकल्प विहीन हो गई है?
एक तरफ चोर हैं तो एक तरफ डाकू?
अब अकेला मै क्या कर सकता हूँ।
कुछ लोग मुझमें कुछ ज्यादा ही इन्टरेस्ट ले रहे है,मेरा पता जनना चाहते हैं,मैने देश के लिये क्या किया जानना चाहते हैं।मै किस जाति का हूँ जानना चाहते हैं तो उनको मै बताना चाहता हूँ मै केन्द्रीय मन्त्री महावीर प्रसाद के लोक्सभा क्षेत्र बाँसगाँव का रहने वाला हूँ,मैने उनको सिर्फ पोस्टरों मे देखा है इस समय जो कत्ल के जुर्म में न्यायालय द्वारा दंडित हैं फिर भी मंत्री बने हुये हैं?
झारखंड मुक्ति मोर्चा के सिबू सोरेन को इन्होंन्ने (कांग्रेस) ने इस्तिफा देने पर मजबूर कर दिया काग्रेस वाले होते ही हैं मक्कार?मीडिया भी सिर्फ भाजपा वालों को कोसता है।क्यों उनको मुसलिम व ईशाई मशिनरियों द्वारा फंड जो मिलता है?
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